यह ब्लॉग अंतर्मन के मंथन से निकले हुए सुंदर विचारों का एक गुलदस्ता है जो सीधे हमारे हृदय को स्पर्श करते हैं और निरंतर अच्छा करने की प्रेरणा देते हैं|
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मंगलवार, 6 जुलाई 2021
आंतरिक संवाद
सोमवार, 10 मई 2021
विचार एक शक्ति
विचारों की शक्ति सचमुच अद्भुत है। इतना जानते हुए भी हम अपने विचारों की शक्ति को सही तरीके से उपयोग नहीं करते। बचपन में माता-पिता से लेकर विद्यालय तक हम पढ़ना लिखना सीखते हैं, समझ विकसित करते हैं किंतु यह कोई नहीं सिखाता कि कैसे सोचना है। सुनने में बड़ा अजीब लगता है किंतु हमारे जीवन की सबसे महत्वपूर्ण परिणाम हमें अपने विचारों की शक्ति से ही मिलते हैं। हम आज जो हैं, वह अपने पिछले किए हुए कार्यों के कारण है और वह कार्य हमारी विचार शक्ति के कारण ही उत्पन्न हुए। हमारे विचारों की ताकत ही हमें किसी कार्य को पूर्ण करने के लिए प्रेरित करती है। हर सुंदर और अद्भुत चीज के पीछे एक सुंदर विचार ही होता है और जब वह विचार क्रियान्वित होता है तो उसकी शोभा देखते ही बनती है। हर कलाकार की सबसे नायाब कृति वह होती है जिसमें वह अपने विचारों की संपूर्ण सुंदरता झोंक देता है तभी एक अपूर्व रचना जन्म लेती है। अतः अपने विचारों की शक्ति को जाने, समझे और पहचाने।
सोमवार, 3 मई 2021
सुविचार की ताकत
बुधवार, 28 अप्रैल 2021
विश्वास
बुधवार, 21 अप्रैल 2021
विचारों की संजीदगी
मंगलवार, 29 दिसंबर 2020
सुंदर विचार
संकल्प यानी हमारे विचार और उन से
निकली हुई तरंगे। हम सभी विचारों की शक्ति से वाकिफ है कि कैसे एक सुंदर विचार एक
सुंदर कर्म में बदलता है और अनेकों को लाभ पहुंचाता है। दुनिया में जहां कहीं भी
कुछ भी महान एवं अच्छा होता है उसके पीछे
एक शक्तिशाली एवं सुंदर विचार का ही हाथ होता है। सबसे पहले वह विचार मानसिक जगत
में प्रकट होता है और फिर वह भौतिक जगत में रूप लेता है। कर्मों में उतर कर वह और
भी सुंदर बन जाता है एवं हजारों लाखों तक पहुंचकर उसका प्रकाश और भी तीव्र हो जाता
है।
सबसे अच्छी बात जो सुंदर संकल्प के
बारे में है वह यह है कि वह हमारी उस शक्ति को व्यर्थ होने से बचाता है जो दिन रात
गलत विचारों में खपकर कुछ अच्छा और सार्थक करने से रोकती है। अतः सबसे पहले अपने
संकल्पों पर नजर डालें यह आपके लिए वरदान भी हो सकते हैं और अभिशाप भी।
सोमवार, 23 नवंबर 2020
संपन्नता
संपन्नता- एक अद्भुत शब्द जो हर इंसान
की इच्छाओं में से एक है। हर इंसान अपने जीवन में दिन रात मेहनत करके सारे साधनों
को इकट्ठा करना चाहता है
एवं तमाम शानो शौकत इकट्ठा करना चाहता है। वास्तव
में यह बहुत कम लोगों को ज्ञात है की संपन्नता बाहरी नहीं अंदरूनी होती है।
संपन्नता बाहर तो बाद में दिखाई देती है किंतु यह वास्तव में आंतरिक है, यह आपके विचारों में बसती है।
एक पुरानी कहावत है कि जेब में पांच रुपये भी
हो तो शान से कहो- काफी है। वास्तव में ऐसे बहुत से लोग हैं जिनके पास सब कुछ होते
हुए भी वह अंदर से रिक्त महसूस करते हैं और बहुत से ऐसे भी हैं जो कम होने के बाद
भी अंदर से मालामाल है। अतः संपन्नता केवल धन से ही संबंधित नहीं है वह रिश्तो में
भी है,
साधनों में भी है और सबसे बढ़कर आपकी आंतरिक संतुष्टि में है। उस पर ध्यान
केंद्रित करें, वही सच्ची संपन्नता है।
स्व प्रेरणा
हर व्यक्ति के जीवन में एक प्रेरणा
होती है - ऐसा कोई व्यक्ति जो आपके करीब हो या फिर आपके लिए एक आदर्श हो। यह
प्रेरणा उस व्यक्ति को लगातार अपने लक्ष्य की ओर बढ़ने के लिए प्रेरित करती है। पर
क्या वास्तव में आपकी प्रेरणा बाहरी है? बहुत ध्यान से अगर आप इस प्रश्न के ऊपर सोचे
और अवलोकन करें तो पाएंगे कि आप की प्रेरणा तो स्वयं आप ही हैं। पर कैसे?
वह ऐसे कि कितने भी बाहरी प्रयत्न कर लिए जाएं
आपको जगाने के लेकिन जिस क्षण आप उसे स्वीकार करते हैं एवं आगे बढ़ने का निर्णय
लेते हैं उसी दिन आप उस प्रेरणा को ग्रहण करते हैं। तो वास्तव में आप स्व प्रेरित
ही हुए ना।
गुरुवार, 19 नवंबर 2020
कुछ करने की प्रेरणा
अक्सर असफल होने पर अधिकांश व्यक्ति
सही अवसरों के नहीं होने या उचित सुविधाओं के नहीं होने को कारणों में गिनाते हैं।
यह कारण बहुत हद तक सही भी होते हैं किंतु देखा गया है कि विषम से विषम परिस्थितियों
में विजय प्राप्त करने वाले अवसरों की प्रतीक्षा नहीं करते बल्कि अवसरों को उत्पन्न
करते हैं। अपनी दक्षता के बल पर वे हर परिस्थिति को हराते हुए विजय पथ पर अग्रसर
होते हैं। तो इससे यह बात सिद्ध हो जाती है कि केवल अवसर का ना होना कोई कारण नहीं
वास्तव में हमारे अंदर प्रेरणा एवं आत्म बल की कमी ही असफलता के लिए जिम्मेदार है।
कई बार एक व्यक्ति बड़े जोश से बड़े
उत्साह से कोई कार्य शुरू करता है किंतु अक्सर उसी बीच में अधूरा छोड़ देता है। यह
हम में से अधिकांश लोगों की समस्या है। इसका मुख्य कारण है सतत प्रेरणा का ना होना
एवं आत्म बल की कमी होना। अगर सही प्रेरणा और कुछ पाने की आग निरंतर बनी रहे तो
सफलता निश्चित है।
परिश्रम
कहावत है परिश्रमी पर लक्ष्मी सदैव प्रसन्न
रहती हैं। यह कहावत उन पर बिल्कुल सटीक बैठती है जो अपने कर्मों से अपने भाग्य की
लकीरों को बदल देते हैं क्योंकि उन्हें भरोसा होता है अपने आप पर और अपने कर्मों
पर। जो जीवन भर दूसरों की छाया में चुप कर रहना चाहते हैं, दूसरों के
आश्रय में जीवन बिताना चाहते हैं वह कभी भी स्वयं की परछाई नहीं देख पाते।
स्वयं की मेहनत से पसीना बहा कर पाया
हुआ धन एवं साधन अद्भुत संतोष देते हैं लेकिन उसके लिए धूप में भी पकना पड़ता है, संघर्षों का
सामना करना होता है। मेहनत की रोटी में जो सुख है वह दूसरों से प्राप्त धन और सुंदर
व्यंजनों में भी नहीं है। मेहनत से कमाने में धूप की चुभन है, कभी दर्द भी है
किंतु अंत में सुखद संतोष एवं शांति है।
शनिवार, 24 अक्टूबर 2020
शब्द शक्ति
कहते हैं शब्दों की गरिमा रखना हर किसी
के बस की बात नहीं होती। शब्दों की शक्ति का एहसास बहुत कम लोगों को होता है। कुछ
उन्ही शब्दों से अपने जीवन में सब कुछ नष्ट कर लेते हैं और कुछ उन शब्दों के जादू
से लोगों को मोहित कर लेते हैं किंतु अधिकतर लोग यह नहीं जानते कि शब्द भी सीमित
और शक्तिशाली होने चाहिए। जिन्हें अपनी शक्ति प्रिय होती है वह
बहुत सोच समझकर गंभीरता से बोलते हैं अतः उनके शब्दों में गहराई एवं अर्थ होता है।
जो यूं ही बोलते रहते हैं वे अपनी
संकल्प शक्ति को व्यर्थ गँवाते हैं और इसी कारण उनके शब्दों में भी प्रभाव नहीं रह
जाता अतः उन्हें कोई गंभीरता से नहीं लेता। अतः कम बोले लेकिन अर्थपूर्ण और गहराई
लिए हुए बोले तब देखें कैसे आपके शब्द फलित होते हैं।
सोमवार, 19 अक्टूबर 2020
आत्मबल
आपका आत्मबल वह अनोखा गुण है जो
परमात्मा ने एक रत्न की तरह तराशकर हर व्यक्ति में डाला है। विषम परिस्थितियों में
जब हर ओर अंधेरा ही अंधेरा दिखाई देता है तब कहीं से उम्मीद की एक रोशनी का
साक्षात्कार होता है जो कहीं और से नहीं हमारे अंदर से ही अवतरित होती है। आत्मिक
साहस वह महान गुण हैं जिसे परमात्मा ने सभी में पूरे मन से भरा है।
ऐसे अनेक उदाहरण हैं जब असंभव की दिखती
हुई परिस्थितियों में कई अनोखे कार्य हुए हैं जो और किसी बल पर नहीं बल्कि आत्म बल
के भरोसे हुए हैं । वास्तव में वही बलवान है जिसने आत्मबल का महान भंडार अपने अंदर
सुरक्षित रखा है। यह वह धन है जो आपसे कोई चोर नहीं चोरी कर सकता ना कोई आपसे छीन
सकता है। इसे बनाए रखें, यही हर स्थिति में आपका परम मित्र है।
गुरुवार, 8 अक्टूबर 2020
मानवीय साहस
जब भी साहस के धनी एवं अभूतपूर्व कार्य करने वालों की चर्चा होती है तो उन लोगों का नाम जबान पर आता है जिन्होंने मुश्किलों से हार कर कभी पीछे मुड़ना स्वीकार नहीं किया, जिन्होंने अपने सपनों की उड़ान को किसी भी परिस्थिति में बाधित नहीं होने दिया, जिन्होंने परिस्थितियों से डरकर कभी हार नहीं मानी। अगर उन्होंने भी सामान्य व्यक्तियों के जैसे विषमताओं से डरकर अपने साहस को खो दिया होता तो शायद आज मानवता की गरिमा को बढ़ाने वाले इतने अविष्कार कभी नहीं होते।
अगर युग और काल के हाथों से आहत होकर मानवता को चोट पहुंची तो उसे मरहम लगाने वाले भी कई व्यक्ति हुए जिन्होंने इतने दुष्कर कार्य केवल अपने साहस और आत्मबल के बूते पर किए। सच ही तो है - सीमाएं उन्हीं के लिए बनी है जो हारना जानते हैं, जो उड़ान भरने के पहले ही डर कर अपने आप को सीमाओं में बांध लेते हैं।
रविवार, 20 सितंबर 2020
संकल्प की ऊर्जा
शुक्रवार, 18 सितंबर 2020
संकल्प - जीवन का आधार
सोमवार, 14 सितंबर 2020
संकल्प की शक्ति
ख़ुशी की खुराक
आज का समय जैसे बड़ा ही निराशाजनक समय है जब लोग अपने घरों में बंद है एवं एक दूसरे से ना तो संपर्क कर पा रहे हैं और ना ही एक साधारण जीवन जी पा...
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सुविचार,शुभ संकल्प,श्रेष्ठ विचार आदि नामों से हम परिचित हैं और कदाचित उसकी शक्ति से भी। अपने माता पिता एवं गुरुजनों से एवं बड़े बूढ़ों से हम...
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